नई दिल्ली (शिखर समाचार) केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने आज भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) दिल्ली का दौरा किया और वहां के स्नातक, स्नातकोत्तर तथा शोधरत विद्यार्थियों के साथ खुलकर संवाद किया। इस दौरान उच्च शिक्षा विभाग के सचिव विनीत जोशी आईआईटी दिल्ली के निदेशक प्रोफेसर रंगन बनर्जी तथा शिक्षा मंत्रालय और संस्थान के वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित रहे।
युवाओं से संवाद में मंत्री का संदेश: नवाचार और संकल्प से 2047 तक समृद्ध भारत का निर्माण
दौरे के दौरान मंत्री ने युवाओं से उनके विचार, शोध की दिशा, तकनीकी चुनौतियों और भविष्य की आकांक्षाओं के बारे में विस्तार से चर्चा की। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हालिया स्वतंत्रता दिवस संबोधन का उल्लेख करते हुए कहा कि आत्मनिर्भर भारत का सपना केवल नीतिगत घोषणाओं तक सीमित नहीं है, बल्कि यह हर युवा के प्रयासों और नवाचारों से ही वास्तविक रूप लेगा। उन्होंने इस अवसर को भारत की प्रगति की गति बढ़ाने का सुनहरा समय बताते हुए कहा कि सामूहिक संकल्प और निरंतर प्रयासों से 2047 तक समृद्ध भारत का लक्ष्य अवश्य पूरा होगा।
मंत्री ने विद्यार्थियों को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि नए विचारों को सामने लाना, प्रयोग करते रहना और चुनौतियों पर डटे रहना ही सफलता का मार्ग है। उन्होंने कहा कि नवाचार की भावना को केवल प्रयोगशालाओं तक सीमित न रखकर उसे समाज और उद्योग जगत की समस्याओं के समाधान से जोड़ा जाए।
प्रधानमंत्री का वादा: भारत को तकनीकी नवाचार और आत्मनिर्भरता में वैश्विक नेता बनाने का संकल्प
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प्रधान ने यह भी आश्वस्त किया कि सरकार हर स्तर पर शोधकर्ताओं और नवप्रवर्तकों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है। लक्ष्य यह है कि भारत को वैश्विक स्तर पर तकनीकी समाधान देने वाला अग्रणी देश बनाया जाए। उनके अनुसार, युवाओं की प्रतिभा और संकल्प ही भारत की आर्थिक और तकनीकी संप्रभुता को मजबूती देंगे और दुनिया को दिखाएंगे कि भारत केवल उपभोक्ता नहीं, बल्कि समाधान निर्माता है।
उन्होंने आईआईटी जैसे संस्थानों को आत्मनिर्भर भारत की नींव बताया और कहा कि प्रधानमंत्री के मार्गदर्शन और समर्थन से युवा शक्ति प्रौद्योगिकी, उद्यमिता और नवाचार की नई इबारत लिख रही है। मंत्री ने यह भी कहा कि वे निकट भविष्य में पुनः आईआईटी दिल्ली का दौरा करेंगे और विद्यार्थियों द्वारा तैयार किए जा रहे नवाचारों की समीक्षा करेंगे।
उच्च शिक्षा विभाग का संदेश: नवाचार और अनुसंधान में नई पीढ़ी के साथ आत्मनिर्भर भारत का निर्माण
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इस अवसर पर उच्च शिक्षा विभाग के सचिव विनीत जोशी ने भी युवाओं को संबोधित किया। उन्होंने प्रधानमंत्री के संदेश को दोहराते हुए कहा कि आत्मनिर्भर भारत का भविष्य हमारी नई पीढ़ी की मेहनत और सोच पर निर्भर है। विभाग का प्रयास है कि उच्च शिक्षा संस्थानों को पर्याप्त सहयोग देकर अनुसंधान, नवाचार और राष्ट्रीय चुनौतियों के समाधान की दिशा में उन्हें और अधिक सक्षम बनाया जाए।
उनका विश्वास है कि आईआईटी दिल्ली आने वाले वर्षों में न केवल भारत बल्कि पूरी दुनिया के लिए प्रासंगिक तकनीक और समाधान विकसित करने में अग्रणी भूमिका निभाएगा।
