नोएडा (शिखर समाचार)
अब नोएडा में भी लोग जंगल जैसा अनुभव ले सकेंगे और वो भी शहर के बीचों-बीच, जहां सूरज ढलने के बाद भी हिरणों की अठखेलियां देखी जा सकेंगी। sector-91 बायोडायवर्सिटी पार्क में बनने जा रहे deer park ‘सनसेट सफारी’ की योजना ज़मीन पर उतरने को तैयार है। नोएडा प्राधिकरण ने इसके लिए आर्किटेक्ट फर्म का चयन कर लिया है और अब डिज़ाइन प्रक्रिया को अंतिम रूप देने की कसरत शुरू हो चुकी है।
करीब 40 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाला यह पार्क
करीब 40 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाला यह पार्क न केवल हिरणों के लिए एक सुरक्षित बसेरा बनेगा, बल्कि शहरवासियों के लिए एक रोमांचकारी नाइट एक्सपीरियंस का केंद्र भी होगा। पार्क के नक्शे में हिरणों के रहने के लिए प्राकृतिक जैसे बाड़े, जलाशय, हरियाली, सुरक्षा घेराबंदी, प्रकाश व्यवस्था और विज़िटर ट्रैक शामिल होंगे। सलाहकारों की निगरानी में हर पहलू को बारीकी से तैयार किया जाएगा।
इस पार्क की सबसे बड़ी खासियत होगी सनसेट सफारी, जिसमें विज़िटर्स रात 10 बजे तक जंगल के जीवों को देख सकेंगे। इसमें प्रयोग की जाने वाली स्पेक्ट्रम लाइट्स इंसानों को पर्याप्त रोशनी देंगी, जबकि जानवरों को ऐसा लगेगा जैसे वो अंधेरे में ही हैं। इससे उनका स्वाभाविक व्यवहार प्रभावित नहीं होगा।
करीब 30 एकड़ में बनने वाला यह पार्क सिर्फ डियर पार्क नहीं बल्कि एक मिनी जंगल का रूप लेगा
करीब 30 एकड़ में बनने वाला यह पार्क सिर्फ डियर पार्क नहीं बल्कि एक मिनी जंगल का रूप लेगा। इसमें अलग-अलग प्रजातियों के 132 हिरण लाए जाएंगे। इनमें से 10 प्रजातियां शामिल होंगी और तीन प्रजातियां अफ्रीका से आयात की जाएंगी। बाकी हिरण कानपुर, लखनऊ और हैदराबाद के चिड़ियाघरों से मंगाए जाएंगे। इसके अलावा एयरपोर्ट और धनौरी वेटलैंड से रेस्क्यू किए गए हिरणों को भी यहां बसाया जाएगा।
इस प्रोजेक्ट को पूरी तरह से वाइल्डलाइफ एक्सपर्ट्स की निगरानी में तैयार किया जा रहा है। रिटायर्ड आईएफएस अधिकारी प्रवीन चंद त्यागी और वन्यजीव विशेषज्ञ संजय श्रीवास्तव को सलाहकार बनाया गया है। यही तय करेंगे कि किस प्रकार की संरचना हिरणों के लिए उपयुक्त होगी और किन जीवों को साथ में रखा जा सकता है।
नोएडा प्राधिकरण की एसीईओ वंदना त्रिपाठी ने बताया कि फाइनल डिज़ाइन तैयार होते ही जुलाई के भीतर सिविल वर्क का टेंडर जारी कर दिया जाएगा। टेंडर प्रक्रिया पूरी होते ही निर्माण शुरू हो जाएगा और जैसे ही संरचना तैयार होगी, हिरणों को लाकर बसाया जाएगा।
तेज़ होती शहरी ज़िंदगी के बीच यह डियर पार्क एक शांत और हरियाली भरा ठिकाना होगा, जहां परिवार, बच्चे और वन्यजीव प्रेमी सुकून के कुछ पल बिता सकेंगे। यह न केवल नोएडा की पहचान को नया आयाम देगा, बल्कि पर्यटन और पारिवारिक आउटिंग के लिए भी एक बड़ा केंद्र बनेगा।
इस तरह नोएडा का यह पहला डियर पार्क न सिर्फ हिरणों का सुरक्षित आशियाना बनेगा, बल्कि शहरवासियों को भी प्रकृति से जुड़ने का नया रास्ता देगा। आने वाले समय में यह प्रोजेक्ट नोएडा की एक नई पहचान बन सकता है।