ग्रेटर नोएडा (शिखर समाचार) ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने प्रशासनिक कार्यशैली में बड़ा बदलाव करते हुए गुरुवार से ई-ऑफिस प्रणाली को पूर्ण रूप से लागू कर दिया है। अब प्राधिकरण के सभी विभागों में फाइलें न तो टेबल बदलेंगी और न ही किसी आलमारी में लंबित रहेंगी, बल्कि सब कुछ डिजिटल पटल पर होगा। जिससे कामकाज न केवल तेज़ बल्कि पारदर्शी भी हो गया है।
प्राधिकरण के सीईओ एन.जी. रवि कुमार ने
प्राधिकरण के सीईओ एन.जी. रवि कुमार ने स्पष्ट निर्देश जारी कर दिए हैं कि सभी महकमों को अब फाइलों का संचालन ई-ऑफिस पोर्टल पर ही करना होगा। इसके लिए सभी स्थायी स्टाफ की ईमेल आईडी तैयार कर दी गई हैं और डिजिटल सिग्नेचर भी तेजी से बनाए जा रहे हैं। अधिकारियों-कर्मचारियों को अब किसी एक स्थान तक सीमित नहीं रहना पड़ेगा। वह कहीं से भी लॉगइन कर फाइल देख सकते हैं, उसे साइन कर सकते हैं और तय समयसीमा में उसे आगे बढ़ा सकते हैं।
प्रणाली की निगरानी शासन स्तर से की जाएगी
एनआईसी द्वारा विकसित इस प्रणाली की निगरानी शासन स्तर से की जाएगी, जिससे यह सुनिश्चित हो सकेगा कि कोई भी फाइल अनावश्यक रूप से लंबित न रहे। शासन की मंशा के अनुरूप उत्तर प्रदेश के सभी सरकारी विभागों को डिजिटल प्लेटफॉर्म पर लाने की दिशा में यह एक निर्णायक कदम माना जा रहा है।
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के ओएसडी अभिषेक पाठक ने जानकारी दी कि अधिकांश स्टाफ की डिजिटल प्रोफाइल तैयार हो चुकी है और शेष कार्य बहुत जल्द पूरा कर लिया जाएगा। वहीं एसीईओ प्रेरणा सिंह ने बताया कि इस पहल से विभागीय प्रक्रिया में न केवल पारदर्शिता आएगी बल्कि हर फाइल किस स्तर पर है, यह भी ट्रैक किया जा सकेगा, जिससे निस्तारण प्रक्रिया में देरी की संभावना लगभग समाप्त हो जाएगी।
ई-ऑफिस प्रणाली की यह शुरुआत ग्रेटर नोएडा को डिजिटल प्रशासन
गौरतलब है कि प्राधिकरण ने पहले ही 55,000 से अधिक फाइलों का स्कैनिंग कार्य पूर्ण कर डाटा बैंक तैयार कर लिया था, जिसका सीधा लाभ अब निवेश मित्रा पोर्टल और अन्य माध्यमों से प्राप्त आवेदनों के शीघ्र निस्तारण में मिलेगा।
ई-ऑफिस प्रणाली की यह शुरुआत ग्रेटर नोएडा को डिजिटल प्रशासन की ओर एक नए युग में ले जाने वाला बदलाव है, जहां कामकाज होगा पारदर्शी, तेज़ और जवाबदेह।