ग्रेटर नोएडा (शिखर समाचार) शहर को स्वच्छ और हरा-भरा बनाए रखने के लिए ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण अब पूरी तरह से सख्त हो गया है। प्राधिकरण ने साफ-सफाई व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए उन लोगों की पहचान शुरू कर दी है, जो कूड़ा गाड़ी आने के बावजूद कूड़ा इधर-उधर फेंककर गंदगी फैलाते हैं।
स्वच्छता की लड़ाई जारी: कूड़ा न देने वालों पर सख्त निगरानी और जुर्माने, जागरूकता के बावजूद गंदगी से जूझ रहे सेक्टरवासी
स्वास्थ्य विभाग की टीमें सेक्टरवासियों की मदद से ऐसे लोगों पर निगरानी रख रही हैं। टीम कूड़ा गाड़ी पर तैनात कर्मचारियों से रिपोर्ट लेकर उन घरों की सूची बना रही है, जहां से कूड़ा नहीं दिया जा रहा। इतना ही नहीं, कई मामलों में कूड़े से घर की पहचान कर सीधे वहां जाकर जुर्माना वसूला जा रहा है। हालांकि प्राधिकरण लंबे समय से जागरूकता अभियान चला रहा है, फिर भी कुछ लोग गीला और सूखा कूड़ा अलग करने के बजाय सीधे सड़कों, ग्रीन बेल्ट या खाली जगहों पर फेंक रहे हैं। इससे बाकी सेक्टरवासियों को बदबू और गंदगी से परेशानी झेलनी पड़ती है।
ग्रेटर नोएडा में स्वच्छता का अल्टीमेटम: जुर्माने के बाद भी न सुधरे तो तस्वीरें सार्वजनिक की जाएंगी—एसीईओ की नागरिकों से अपील
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प्राधिकरण का कहना है कि अगर चेतावनी और जुर्माने के बाद भी लोग नहीं सुधरे तो उनकी तस्वीरें सेक्टर गेट और आरडब्ल्यूए कार्यालय में सार्वजनिक कर दी जाएंगी। ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की एसीईओ श्रीलक्ष्मी वीएस ने कहा कि ग्रेटर नोएडा एक सुंदर शहर है और इसे स्वच्छ रखने की जिम्मेदारी हर नागरिक की है। सभी निवासियों से अपील है कि गीले और सूखे कूड़े के लिए अलग-अलग डस्टबिन रखें और कूड़ा गाड़ी आने पर उसे वहीं डालें। शहर की स्वच्छता हम सबकी साझा जिम्मेदारी है।
