Hariyali Amavasya पर Braj Ghat में उमड़ा श्रद्धा का समंदर, दो लाख से अधिक लोगों ने लगाई पुण्य की डुबकी

Rashtriya Shikhar
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On Hariyali Amavasya, a sea of devotion surged at Braj Ghat IMAGE CREDIT TO REPORTER

गढ़मुक्तेश्वर (शिखर समाचार)।
श्रावण मास की पावन हरियाली अमावस्या पर ब्रजघाट की पुण्यभूमि पर श्रद्धा का अनुपम संगम देखने को मिला, जब भोर से ही गंगा मैया के तट पर आस्था का जनसैलाब उमड़ पड़ा। अनुमानित दो लाख से अधिक श्रद्धालु दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान, पश्चिमी उत्तर प्रदेश सहित सुदूर क्षेत्रों से आकर माँ गंगा की गोद में डुबकी लगाकर पुण्य लाभ अर्जित करते नजर आए।

गंगा के जयघोष से गूंजा ब्रजघाट: श्रद्धालुओं का भक्ति और सेवा से ओतप्रोत उत्सव

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सभी दिशाओं से आते भक्त गंगे-गंगे के जयघोष के साथ तड़के ही ब्रजघाट पहुंचने लगे थे। गंगा स्नान के पश्चात अनेक श्रद्धालु नजदीकी मंदिरों में पहुंचे, जहाँ उन्होंने अपने इष्टदेवों की विधिवत पूजा-अर्चना कर धर्म-कर्म के संकल्प दोहराए। अनेक श्रद्धालु परिवार सहित त्रिपुण्ड लगाकर, पूजा थाल सजाकर भजन-कीर्तन में लीन दिखे। वहीं धर्मपरायण समृद्धजनों ने जरूरतमंदों को भोजन, वस्त्र व दान सामग्री वितरित कर अपने सामाजिक दायित्व का भी निर्वहन किया।

श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को ध्यान में रखते हुए नगर पालिका प्रशासन ने साफ-सफाई, पेयजल, चिकित्सा सहायता व विश्राम की व्यापक व्यवस्था की थी। घाटों पर नियमित सफाई व्यवस्था, डस्टबिन, मेडिकल कैम्प और जल की टंकियों के माध्यम से सुविधा सुनिश्चित की गई।

हरियाली अमावस्या पर आस्था, सेवा और सुरक्षा का संगम: ब्रजघाट की अलौकिक भोर बनी अविस्मरणीय

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सुरक्षा के मोर्चे पर भी पुलिस प्रशासन पूरी तरह सतर्क रहा। गंगा घाट से लेकर प्रवेश मार्गों तक सादी वर्दी में पुलिस बल, पीएसी, जल पुलिस व महिला पुलिसकर्मी तैनात रहे। भीड़ पर नजर रखने के लिए ड्रोन कैमरे व सीसीटीवी की भी सहायता ली गई, जिससे पूरा क्षेत्र निगरानी में रहा।

हरियाली अमावस्या पर इस आयोजन ने यह सिद्ध कर दिया कि जब श्रद्धा संगठित होती है तो न केवल धार्मिक वातावरण गहराता है, बल्कि सामाजिक सौहार्द, सेवा और व्यवस्था भी सशक्त रूप से झलकती है। गंगा किनारे की यह अलौकिक भोर, हजारों श्रद्धालुओं के लिए एक अविस्मरणीय अनुभव बन गई।

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